events

9 जनवरी: प्रवासी भारतीय दिवस

हमने यहाँ पर 9 जनवरी को मनाये जाने वाले प्रवासी भारतीय दिवस (Pravasi Bharatiya Divas) के बारे में जानकारी प्रकाशित की है जो की अपने सामान्य ज्ञान और सरकारी नौकरी की तैयारी के सहायक होगी.

प्रवासी भारतीय दिवस – Pravasi Bharatiya Divas

भारतीय सभ्यंता, संस्कृतति और संवृद्वि को विदेशों में रह रहे भारतीयों ने निरन्तरर प्रचार प्रसार किया है। तथा अन्यर देशों के लिए भी आकर्षण का विषय बनाया है। अंग्रेजों के शासन काल से ही हजारों भारतीयों मजदूर अथवा अन्यय उत्पा दन कार्यों के लिए र्निदेशों में भेजे जाते थे। उक्ते भारतीयों वहीं स्था्यी रूप से रहने लगे उनको कई पीढियॉं वहीं गुजर बसर कर रही है। तथा साथ ही अपनी अस्मि ता को बनाए हुए है। ये भारतीय वहॉं की राजनीति तथा सरकार में भी प्रभावी भूमिका का निर्वाहन कर रहे है।

इस भारतीय मूल के लोगों को अपने पूर्वजों की भूमि, मिट्टी, गॉव, देश आदि से निरन्तउर लगाव बना हुआ है। उपर्युक्तस भारतीयों के अतिरिक्त विदेशों में रहने वाले बहुत सारे ऐसे भारतीय हैं जो उच्च, शिक्षा के लिए वहां गए तथा वही के नागरिक बन गए। सिंधवी समिति ने विदेशों में रह रहे प्रवासी एवं भारतीय मूल के लोगों को एक साथ एक मंच पर एकत्रित करने और भारत सरकार से बातचीत के लिए एक सम्मेरलन आयोजित करने की अनुशसा के साथ 9 जनवरी को प्रत्येरक वर्ष प्रवासी भारतीय दिवस मनाने के लिए भी सिफारिश की। सिधवी समिति की अनुशंसाओं को ध्यानन में रखते हुए भारत सरकार ने 9 से 11 जनवरी को प्रवासी भारतीय दिवस तथा सम्मे लन का आयोजन किया।

Also Read:

प्रवास की संकल्प‍ना प्राचीन काल से अस्तिनत्वि में है। वैदिक सभ्य ता से लेकर 18 वीं शताब्दीन तक इसका स्वकरूप भारत में प्राय: ज्ञानार्जन, लोक कल्यािण के लिए और धार्मिक अभिप्रायों से किए जाने वाले प्रवास का रहा है। बौद्व धर्म ग्रहण करने के बाद सम्राट अशोक ने ईसा पूर्व तीसरी शताब्दीि में अपने पुत्र एवं पुत्री को धार्मिक अभिप्राय से प्रवास पर भेजा था। प्रवासी भारतीय दिवस प्रतिवर्ष 9 जनवरी को मनाया जाता है इस दिवस की शुरूआत सन् 2003 से हुई थी। इस मंच के निम्न लिखित उद्देश्य है।

अप्रवासी भारतीयों की भारत के प्रति सोच, उनकी भावनाओं की अभिव्यहक्ति के साथ ही उनकी अपने देश वासियों के साथ सकारात्मतक बातचीत के लिए एक मंच उपलब्ध कराना। विश्वय के 110 देशों के बीच एक नेटवर्क स्थाेपित करना तथा उनके बीच मधुर संबंध स्थालपित करना तथा भारत की युवा पीढी को अप्रवासी भाइयों से जोडना। इस दिवस का मकसद प्रवासी भारतीयों को देश से जोडना है। बहुत बार देखने में आता है कि विदेशों में रह रहे भारतीय पूरी तरीके से विदेशी संस्कृोति में रच- बस गए है और वे भारतीय परंपराओं से पूरी तरह अनभिज्ञ है। ऐसे में प्रवासी दिवस का मुख्यं उद्देश्ये है कि उन्हें देसी मिट्टी की याद दिलाना ओर भारत की तरफ पुन: आकर्षित करना। अपने पूर्वजों के प्रति आकर्षित करना बहुत से प्रवासी भारतीय भारत को गरीब और पिछडा देश समझते है। ऐसे में प्रवासी भारतीय दिवस का उद्देश्यक है कि उनको भारत के बारे में सही जानकारी देना। संयुक्तप अरब अमीरात में सबसे अधिक भारतीय प्रवासी रहते है जो वहां पर रहकर रोजगार करते है। यह दिवस मनाना इसलिए भी जरूरी है क्योसकि इन दिनों विदेश में रह रहे भारतीयों पर हमले हो रहे है। उनकी हत्याि की जा रही है।

Read Also: हिंदी भारतीय संस्कृति का अनोखा रूप निबंध
Read Also: नोबेल पुरस्कार विजेता 2020 हिंदी
Read Also: 72वें एमी पुरस्कार विजेताओं की सूची 2020 हिंदी

अरुण कुमार
अरुण को दिल्ली विश्वविद्यालय से हिंदी में कला स्नातक की डिग्री और शिक्षा के सभी क्षेत्रों में कार्य अनुभव है। उन्हें हिंदी शिक्षा क्षेत्र में लेखन का दस वर्षों से अधिक का अनुभव है।
https://www.gksection.com

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *